काश लौट आए तेरे साथ
बिताया हुआ हर इक पल
मेरे रूठ जाने पर
तेरा बार बार मनाना
मेरे न मानने पर खुद
रो पड़ना और मुझे भी रुला देना
काश लौट आए ......
आज भी उस जगह से गुजरती हूँ जहाँ तुम आखिरी बार आए
थे
देखती हूँ उस जगह को
बार बार मगर तुम कहीं नज़र नहीं आए
काश लौट आए ...
तेरी इक मुस्कराहट
पे अपनी सारी खुशियों को निछावर कर देना
तेरे मुंह से अपनी
तारीफ़ को सुनना आज भी मुझे याद है
काश लौट आए ...
तेरे गुस्से से आना
और मुझसे मिलने पर खुद पिघल जाना
अपनी खुशियों को दबा
कर तेरे लिए दुआ करना आज भी मुझे याद है
काश लौट आए ...
तेरी यादों में फिर
से डूब जाने को आज फिर ये दिल करता है
तेरे गुस्से में भी
अपने लिए प्यार देखना आज भी याद है
काश लौट आए ....
आज भी वो दिन याद है
तुझसे आखिरी बार मिलना
फिर न कभी मिलने
वाला पल आज भी मुझे याद है
काश लौट आए ...
न भूली हूँ न
भूलूंगी तेरे आखिरी बार मुझसे बिछड़ के तेरा जाना
न भूली हूँ न
भूलूंगी तेरा मुड़ के वो पलट के आखिरी बार देखना
काश लौट आए ...
आज भी उस आखिरी पल
को सदा अपनी ज़िन्दगी में संजोए रखूंगी
तेरी हर याद को अपने
सीने से लगाए रखूंगी
काश लौट आए ...
शीरीं मंसूरी 'तस्कीन'
शीरीं मंसूरी 'तस्कीन'
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